पेट भरने के लिए अब लालू को जेल में करने पड़ेंगे ये 5 काम.. काम ऐसे कि उनका नौकर भी हिचक जाए

फाइल फोटो- लालू यादव

नई दिल्ली: चारा घोटाला के मामले आरसी 64(ए) 1996 के तहत दोषी पाए गए बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को कोर्ट ने साढ़े तीन साल की सजा सुनाई। सभी आरोपी 23 दिसंबर 2017 से रांची के बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा में बंद हैं।

लालू यादव का नया साल जेल में ही बीता। बिरसा मुंडा जेल के बाहर सुबह लालू यादव के समर्थक उनसे मिलने के लिए जमा थे। साल के पहले दिन पटना में राजद अध्यक्ष लालू यादव के घर पर शुभकामनाएं देने वालों का तांता लगा रहा। मगर इस दौरान सभी को वहां लालू यादव की कमी जमकर खली। हालांकि, जेलर ने लालू यादव से पूछकर मात्र चार लोगों को बुलाया, जिसमें राजद विधायक भोला यादव भी शामिल थे।

आपको बता दें कि इससे पहले 2013 में भी लालू यादव चारा घोटाला के एक और मामले में सजा काट चुके हैं। उस दौरान भी वो इसी जेल में बंद थे। दरअसल, बिहार सरकार ने 1991 से 1994 के बीच मवेशियों की दवा और चारा खरीदने के लिए सिर्फ 4 लाख 7 हजार रुपए ही पास किए गए थे। जबकि इस दौरान देवघर ट्रैजरी से 6 फर्जी अलॉटमेंट लेटर से 89 लाख 4 हजार 413 रुपए निकाले गए। इसी मामले में लालू यादव को सजा सुनाई गई।

लालू को जेल में प्रिंटिंग, स्क्रीन प्रिंटिंग, कंबल, कपड़े की बुनाई, कुकिंग और सिलाई का ऑप्शन दिया जाएगा। अगर वो इन्हें पसंद नहीं करते तो दूसरे ऑप्शन दिए जाएंगे।

अन्य काम के लिए लालू के सामने साफ सफाई, साबुन, फिनाइल और मोमबत्ती, माली, सब्जी उगाने के ऑप्शन रखे जाएंगे। अगर लालू कैदियों और महिला कैदियों के बच्चों को पढ़ाने का ऑप्शन सिलेक्ट करते हैं। तो उन्हें ये करने दिया जाएगा।

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