माँ ज्वालामुखी दरबार के समीप कल्याणी नदी में हुआ मूर्ति विसर्जन


रिपोर्टर- बाल गोविन्द वर्मा।सिरौलीगौसपुर, बाराबंकी।
शनिवार को विजय दशमी के सुअवसर पर तहसील क्षेत्र के विभिन्न स्थानों पर दशहरा मेला लगाया गया, जिसमें ग्रामीणों द्वारा  रामलीला का आयोजन किया गया। राम ने अत्याचारी व अन्यायी रावण का वध करके अन्याय व अधर्म पर न्याय व धर्म की स्थापना की। रामलीला का कार्यक्रम देखने के लिए ग्रामीणों की भारी भीड़ जुटी रही। राम के दूत के रूप में अंगद ने रावण के दरबार में अपना पैर जमाकर राम की ताक़त का संदेश रावण को दिया।

       दशहरा अर्थात विजय दशमी के अवसर पर नवरात्रि के उपरांत स्थापित की गई माँ शेरावाली की प्रतिमाओं का विसर्जन किया गया। क्षेत्र के विभिन्न स्थानों डूंडी के बंजरिया व अटिया तथा नोहरिक पुरवा के साथ ही मुश्कीपुर, करौरा, शहरी, महमूदाबाद, बघौरा, हमीदनगर आदि गाँवों से माँ के भक्त नाचते गाते प्रेम से बोलो जय मातादी, सारे बोलो जय मातादी के नारे लगाते हुये झूमते गाते माँ ज्वालामुखी के दरबार के समीप प्रवाहित हो रही कल्याणी नदी में माँ के विसर्जन हेतु निकले। कल्याणी नदी पर प्रशासन द्वारा उचित बंदोबस्त किया गया था, जिससे बड़ी सुविधा के साथ लोगों ने सावधानी पूर्वक अपने अपने गाँव की मूर्तियों का विसर्जन किया।

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