दुनिया की अर्थव्यवस्था बदल रही है सितंबर तक प्रभावी होगा GST: अरुण जेटली

नोटबंदी साहसिक फैसला, सितंबर तक प्रभावी होगा GST: अरुण जेटली

नई दिल्ली,   वित्त मंत्री अरुण जेटली ने नोटबंदी को एक साहसिक फैसला बताते हुए कहा कि दुनिया की अर्थव्यवस्था बदल रही है और भारत को एक उभरती हुई आर्थिक शक्तियों के रूप में देखा जा रहा है। उन्होंने बताया कि मौजूदा टैक्स व्यवस्ता सितंबर से बंद हो जाएगी।

सितंबर तक प्रभावी होगा जीएसटी
फिक्की के 89वें वार्षिक कार्यक्रम में अरुण जेटली ने कहा कि GST बिल पास होना हमारी बड़ी कामयाबी है। GST काउंसिल को अभी कई निर्णय लेने हैं। 10 बड़े फैसले लिए जा चुके हैं। सितंबर 2017 को टैक्स की मौजूदा व्यवस्था बंद हो जाएगी। उन्होंने बताया कि आदर्श रूप में जीएसटी एक अप्रैल 2017 से शुरू होना चाहिए था, लेकिन कानून को अप्रैल और 16 सितंबर के बीच प्रभावी होना संवैधानिक अनिवार्यता है।

भारत की अर्थव्यवस्था कमजोर नहीं
अरुण जेटली ने कहा कि बड़े नोटों को बंद करने में सरकार ने साहसिक फैसला किया है। भारत के पास नोटबंदी पर फैसला लेने की क्षमता है। अब यहां की अर्थव्यवस्था कमजोर नहीं है। दुनिया में भारत को एक उभरती शक्तियों के रूप में देखा जा रहा है।

पुराने नोटों की तरह नहीं छपेंगे नए नोट
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने आज संकेत दिया कि 15.44 लाख करोड़ रुपये के पुराने अमान्य नोटों के स्थान पर इतनी ही राशि की नई करेंसी जारी नहीं की जायेगी। उन्होंने कहा कि डिजिटल करेंसी अंतर को पूरा करेगी।
वित्त मंत्री ने 500 और 1,000 रुपये के पुराने नोटों को अमान्य किए जाने को एक साहसिक कदम बताया और कहा कि भारत में इतनी क्षमता है कि वह इस तरह के कदम उठा सके और इसका अनुभव उठा सके।
जेटली ने कहा कि उच्च मूल्य वर्ग के नोटों को अमान्य करने के फैसले से एक नई सोच और सामान्य चलन स्तर बना है। इससे पहले, पिछले सात दशक से जो सामान्य चलन था, वह स्वीकार्य नहीं है।
जेटली ने फिक्की की 89 वीं वार्षिक आम बैठक को संबोधित कहते हुए कहा कि नोटों को अमान्य करने के कदम से अर्थव्यवस्था, चलन में अधिक नकदी की समस्या से बाहर निकलेगी। अधिक नकदी से कर चोरी, कालाधन और अपराध के लिये करेंसी का इस्तेमाल जैसी समस्याएं खड़ी होती हैं।

आधार के उपयोग में हुआ बदलाव
अरुण जेटली ने बताया कि पिछले एक साल में बहुत सारे बदलाव हुए हैं। आधार को रजिस्टर करवाकर और इसका उपयोग करके हमें बदलाव लाने में मदद मिल रही है। ब्रेक्जिट वोट से बहुत सारे लोगों को आश्चर्य हुआ। लोगों को लगता था कि इतना परिपक्व लोकतंत्र वोट नहीं देगा, लेकिन उसने दिया।

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